केंद्रीय नौवहन राज्य मंत्री (Union Minister of State for Shipping) (I / C) श्री मनसुख मंडाविया ने SAROD-Ports ’(सोसाइटी फॉर अफोर्डेबल रिड्रेसल ऑफ डिस्प्यूट्स – पोर्ट्स) का आज नई दिल्ली में आभासी समारोह के माध्यम से शुभारंभ किया।
जैसे की मनसुख मंडाविया ने बताया की –
SAROD-Ports एक गेम चेंजर के रूप में एवं यह भारत के पोर्ट सेक्टर में ummeed (आशा), vishwas (विश्वास) और nyaya (न्याय) का निर्णायक तंत्र बन जाएगा।
श्री मंडाविया ने यह भी कहा कि पत्र और भावना में रियायत समझौतों का प्रवर्तन अत्यंत प्राथमिकता पर है।
SAROD- पोर्ट कानूनी व्यय और समय की भारी मात्रा में बचत करते हुए निष्पक्ष और न्यायपूर्ण तरीके से विवादों को हल करेंगे।
SAROD- पोर्ट की स्थापना सोसाइटी पंजीकरण अधिनियम, 1860 के तहत निम्नलिखित उद्देश्यों के साथ की गई है:
उचित तरीके से विवादों का वहन करने योग्य और समयबद्ध समाधान
मध्यस्थों के रूप में तकनीकी विशेषज्ञों के पैनल के साथ विवाद समाधान तंत्र का संवर्धन।
SAROD- पोर्ट्स में इंडियन पोर्ट्स एसोसिएशन (IPA) और इंडियन प्राइवेट पोर्ट्स एंड टर्मिनल्स एसोसिएशन (IPTTA) के सदस्य शामिल हैं।
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